
अनूप कुमार गुप्ता,
गढ़वा:-जिला उप विकास आयुक्त (डीडीसी) पशुपतिनाथ मिश्रा ने रमना एवं विशुनपुरा प्रखंड में संचालित विभिन्न आवास योजनाओं की समीक्षा करते हुए अधिकारियों को स्पष्ट निर्देश दिया कि वर्षा ऋतु से पूर्व सभी अपूर्ण आवासों का कार्य हर हाल में पूर्ण कराया जाए। यह समीक्षा बैठक समाहरणालय सभागार में आयोजित की गई, जिसमें पंचायत सचिव, प्रखंड कार्यक्रम पदाधिकारी (मनरेगा), प्रखंड समन्वयक (आवास) एवं अन्य संबंधित पदाधिकारी उपस्थित थे।
समीक्षा के दौरान डीडीसी ने मुख्य रूप से वित्तीय वर्ष 2023-24 में स्वीकृत अबुआ आवास योजना और प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत उन लाभुकों के आवासों की समीक्षा की जिनका कार्य अब तक प्रारंभ नहीं हो पाया है या जिन्हें तृतीय किस्त की राशि मिल चुकी है, लेकिन निर्माण कार्य अधूरा है। उन्होंने स्पष्ट किया कि जिन लाभुकों को आवास की राशि मिल चुकी है, फिर भी उन्होंने कार्य आरंभ नहीं किया है, ऐसे लाभुकों को चिन्हित कर उनके विरुद्ध नोटिस निर्गत किया जाए।
डीडीसी ने संबंधित पदाधिकारियों को यह निर्देश भी दिया कि लाभुकों के आवासों का भौतिक सत्यापन अनिवार्य रूप से किया जाए। साथ ही, आवश्यकता पड़ने पर ऐसे लाभुकों के बैंक खातों को होल्ड करने की प्रक्रिया भी शुरू की जाए, ताकि सरकारी धन का दुरुपयोग न हो। उन्होंने यह भी स्पष्ट किया कि लापरवाही बरतने वाले कर्मियों पर भी कार्रवाई की जाएगी।
बैठक में यह भी निर्देश दिया गया कि प्रधानमंत्री जनमन आवास योजना एवं पीएम आवास योजना की प्रगति में तेजी लाई जाए। इन योजनाओं के अंतर्गत कार्यरत कर्मचारियों को लाभुकों से समन्वय स्थापित कर उन्हें निर्माण कार्य शीघ्र पूरा कराने हेतु प्रेरित करने का निर्देश दिया गया। डीडीसी ने बताया कि राज्य सरकार की मंशा है कि हर पात्र परिवार को समय पर आवास उपलब्ध कराया जाए, और इसमें किसी प्रकार की कोताही नहीं बर्दाश्त की जाएगी।
डीडीसी ने कहा कि जिन लाभुकों ने राशि प्राप्त कर ली है, वे या तो निर्माण कार्य प्रारंभ नहीं कर रहे हैं अथवा बीच में अधूरा छोड़ दिया है। ऐसे मामलों में यह संदेह उत्पन्न होता है कि कहीं राशि का दुरुपयोग तो नहीं हुआ। इसलिए संबंधित विभागीय कर्मी पूरी गंभीरता से इस दिशा में काम करें और रिपोर्ट प्रस्तुत करें।
बैठक के अंत में डीडीसी ने उपस्थित सभी अधिकारियों से कहा कि आगामी दिनों में वे स्वयं भी प्रखंडों का औचक निरीक्षण करेंगे और यदि कोई अनियमितता पाई गई तो संबंधित पदाधिकारी की जवाबदेही तय की जाएगी। उन्होंने यह भी कहा कि वर्षा शुरू होने के पूर्व अपूर्ण आवासों को पूर्ण कराना सर्वोच्च प्राथमिकता होनी चाहिए, ताकि लाभुकों को किसी प्रकार की असुविधा न हो।