- स्कूल कॉलेज अस्पताल युवाओं के रोजगार, महिला सशक्तिकरण जैसे सकारात्मक मुद्दे पर बीजेपी के द्वारा कहीं कोई जिक्र नहीं: आलोक कुमार दूबे महासचिव प्रदेश कांग्रेस
- समाज को तोड़कर सत्ता पर काबिज होने की मंशा खूब समझती है झारखंड की जनता; विधानसभा चुनाव बीजेपी को देगी करारा जवाब : आलोक कुमार दूबे वरिष्ठ नेता कांग्रेस
- हताशा और निराशा में सांप्रदायिकता का जहर घोलकर झारखंड में सत्ता हथियाना चाहती है बीजेपी; विकास के मुद्दे पर कहीं कोई चर्चा नहीं; झारखंड की जनता को मूर्ख ना समझे बीजेपी:
अमीन अंसारी,

रांची:-प्रदेश कांग्रेस कमेटी के महासचिव आलोक कुमार दूबे ने कहा है झारखंड चुनाव के मद्देनजर बीजेपी के झारखंड प्रभारी व असम के मुख्यमंत्री हेमंत विश्वा जिस दिन से झारखंड आ रहे हैं समाज को तोड़ने की बात कर रहे हैं,सांप्रदायिकता का जहर घोलने की बात कर रहे हैं, एनआरसी की बात करते हैं, बंटोगे तो कटोगे की बात करते हैं, गाय- गोबर,मंगलसूत्र की बात करते हैं, हिंदुस्तान पाकिस्तान, घुसपैठिये की बात करते हैं।
प्रदेश के एक मुख्यमंत्री के मुंह से ऐसी बातें शोभा नहीं देती हैं।
उन्होंने कहा भाजपा के झारखंड प्रभारी अपने किसी भी संबोधन में स्कूल, कॉलेज, अस्पताल,युवाओं को रोजगार, महिला सशक्तिकरण, मूलभूत आवश्यकताओं एवं जरूरत के मुद्दे पर कोई बात नहीं करती है।
पिछले 5 वर्षों में राज्य सरकार के किए गए कार्यों को लेकर हम जनता के बीच वोट मांग रहे हैं और भाजपा विध्वंसक राजनीति की बात कर रही है,झारखण्ड पहला स्टेट है जहां सरकार के खिलाफ कोई एंटी इनकन्वेंसी नहीं है और यही वजह है कि भाजपा हताश और निराश है।
वहीं दूसरी तरफ देश के गॄह मंत्री ने कहा लटका दिए जाएंगे, एक दूसरे मंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा पेट फाड़ कर निकाल लेंगे इस तरह की भाषा का प्रयोग भारतीय जनता पार्टी के नेता अपने आचरण के अनुरूप ही शब्दों का प्रयोग कर रहे हैं।
विध्वंसक सांप्रदायिक एवं फिरकापरस्त राजनीति को झारखंड की जनता कभी भी तवज्जो नहीं देती है, यही वजह है कि 2019 में भी मंदिर मस्जिद के मुद्दे की राजनीति को झारखंड की जनता ने नकार दिया था। हेमंता विश्वा के लाख कोशिशों के बावजूद समाज को बांटने की राजनीति झारखंड में सफल नहीं होगी और हम एक बार फिर 2024 में एक प्रचंड जनादेश लेकर सत्ता पर काबिज होने जा रहे हैं।
प्रदेश कांग्रेस महासचिव ने कहा हेमन्त सरकार को गिराने के टास्क में फेल हेमंत विश्व शर्मा को एक और मौका दिया गया है।
लेकिन झारखंड के राजनीतिक दलों को भोला और बचकाना समझने की गलती ना करें बीजेपी,बीजेपी के कुचक्र,षड्यंत्र और हर दांव की राजनीति को झारखंड के दलों ने भी सीख लिया है।