
लोहरदगा/गुमला:
झारखंड के लोहरदगा, गुमला और लातेहार जिलों के ट्रक ऑनर एसोसिएशन ने 15 वर्षों से पुराने व्यावसायिक वाहनों के परमिट रोकने को लेकर राज्य सरकार के परिवहन विभाग पर गंभीर आरोप लगाए हैं। लोहरदगा-गुमला ट्रक ऑनर एसोसिएशन और झारखंड पठारी चंदवा बॉक्साइट ट्रक ऑनर एसोसिएशन के संयुक्त प्रतिनिधिमंडल ने रांची में परिवहन विभाग के सचिव विप्रा भाल, संयुक्त आयुक्त प्रवीण कुमार प्रकाश एवं उप परिवहन आयुक्त सह आरटीए सचिव हरिवंश पंडित से मिलकर ज्ञापन सौंपा।
प्रतिनिधिमंडल ने बताया कि दक्षिण छोटानागपुर प्रादेशिक प्राधिकरण, रांची आरटीए और हजारीबाग प्रमंडल पिछले कई महीनों से 15 साल से पुराने व्यावसायिक वाहनों को रोड परमिट नहीं दे रहे हैं। जबकि इन्हीं वाहनों से टैक्स, फिटनेस, बीमा और अन्य शुल्क वसूले जा रहे हैं। अधिकारियों से जब इसका कारण पूछा गया तो कोई स्पष्ट जवाब नहीं मिला।
ज्ञापन में कहा गया है कि लोहरदगा, गुमला और लातेहार जिले बॉक्साइट खनन के प्रमुख केंद्र हैं, जहां करीब 1500 से 2000 छह चक्का ट्रक चलते हैं। इन ट्रकों पर ही इन जिलों के लाखों लोगों की आजीविका निर्भर है। परमिट नहीं मिलने से न केवल ट्रक मालिकों बल्कि श्रमिकों और उनके परिवारों का भी जीवन प्रभावित हो रहा है। एसोसिएशन का आरोप है कि परमिट न देकर परिवहन विभाग ने एकतरफा और भेदभावपूर्ण रवैया अपनाया है।
प्रतिनिधिमंडल ने यह भी आरोप लगाया कि दक्षिण छोटानागपुर और हजारीबाग प्रमंडल को छोड़कर राज्य के अन्य क्षेत्रों में पुराने व्यावसायिक वाहनों को परमिट दिए जा रहे हैं। अन्य राज्यों में भी ऐसा कोई प्रतिबंध नहीं है। एसोसिएशन ने इस निर्णय को एक साजिश करार देते हुए आरोप लगाया कि कुछ बड़ी कंपनियों और व्यवसायियों के हित में यह निर्णय लिया गया है।
एसोसिएशन ने चेतावनी दी कि यदि जल्द से जल्द रोड परमिट जारी नहीं किए गए तो उग्र आंदोलन किया जाएगा। सभी ट्रकों को राजधानी रांची लाकर परिवहन आयुक्त कार्यालय के बाहर खड़ा किया जाएगा। साथ ही, न्यायालय की भी शरण ली जाएगी। इस संदर्भ में दक्षिण छोटानागपुर आयुक्त को भी ज्ञापन सौंपा गया है।
प्रतिनिधिमंडल में लोहरदगा-गुमला ट्रक ऑनर एसोसिएशन के अध्यक्ष कवलजीत सिंह, उपाध्यक्ष बरज सिंह, सह सचिव अभय सिंह, तथा झारखंड पठारी चंदवा बॉक्साइट ट्रक ऑनर एसोसिएशन के सचिव मुद्रिका यादव और नीरज कुमार सहित अन्य पदाधिकारी मौजूद थे।