लातेहार संवादाता,
लातेहार:- मनरेगा कार्ड के मुताबिक 25 फरवरी 2024 में मृत महिला की ओर से मस्टररोल में नाम लिखवाने के बाद शाहरुख अंसारी के कूप निर्माण कार्य में काम कर भुगतान भी उठा लि। सुनकर भले ही अजीब लगे लेकिन मनरेगा के जो दस्तावेज मनरेगा लोकपाल को पेश किए गए, उनमें इसकी पुष्टि हो रही है। मामला सदर प्रखंड के पांडेयपुर पंचायत के ग्राम हेठबेसरा का है यहां एक महिला की वर्ष 2023 में मृत्यु हो जाने के बावजूद कुछ बिचोलियो की ओर से फर्जीवाड़ा कर मृतक महिला रालो देवी का नाम मस्टररोल में लिखवा दिया।
रालो देवी की मृत सर्टिफिकेट
कार्यस्थल पर मृतक के नाम की हाजिरी भी लगा दी गई, और उसकी गिनती भी हो गई। मृतक के नाम काम का आवंटन भी हुआ और समय पर भुगतान भी उठा लिया गया।
बता दे की रालो देवी की मृत्यु 27 अगस्त 2023 को हो गई थी। फिर भी मनरेगा से संचालित बिरसा सिंचाई कुप संवर्धन योजना के तहत ग्राम हेट बेसरा में 25 फरवरी 2024 को काम करने आई थी। पर मरने के बाद वह कैसे आ गई। यह भी एक पहेली बनकर रह गई है। पंचायत में भ्रष्टाचार इस कदर हावी है कि यहां मरे हुए इंसानों से मजदूरी कराकर उनकी मजदूरी का भुगतान करा लिया जा रहा है।
सबसे बड़ी बात
बता दे की मनरेगा के तहत जितने भी मास्टर रोल लगाई गई हैं। उनमें ऐसे लोगों के नाम मास्टर रोल लगाए गए हैं जो कभी मनरेगा में काम किया ही नहीं है। वह कहीं बाहर कमाने में व्यस्त है तो कोई अपने काम में दुकान में अपने बिजनेस में काम कर रहे हैं ऐसे लोगों के नाम पर मास्टर रोल लगाकर फर्जीवाड़ा बिचौलियों के द्वारा किया जा रहा है। और सरकारी धनराशि का दुरुपयोग कर रहे हैं।
इसमें सबसे ज्यादा अहम रोल कौन निभाते हैं…?मुखिया,पंचायत सेवक,रोजगार सेवक
बिना जांच पड़ताल किए ही पंचायत मुखिया एवं पंचायत सेवक, रोजगार सेवक डिमांड में सिग्नेचर कर देते हैं। जिससे मनरेगा मजदूर का मजदूरी मिलता है।